अध्याय 91

मेरा आत्मा लगातार मेरी वाणी बोलता और कथन कहता है—तुम लोगों में से कितने मुझे जान सकते हैं? मुझे क्यों देह बन कर तुम लोगों के बीच आना होगा? यह एक बड़ा रहस्य है। तुम लोग मेरे बारे में सोचते हो और पूरे दिन मेरे लिए लालायित रहते हो और तुम लोग मेरी स्तुति करते हो, मेरा आनंद लेते हो और हर दिन मुझे खाते और पीते हो और फिर भी आज मुझे नहीं जानते हो। तुम कितने अज्ञानी और अंधे हो! तुम लोग मुझे कितना कम जानते हो! तुम लोगों में से कितने मेरी इच्छा के प्रति विचारशील हो सकते हैं? अर्थात्, तुममें से कितने मुझे जान सकते हैं? तुम सब चालाक, शैतान की तरह हो, फिर भी तुम मेरी इच्छा को पूरा करना चाहते हो? रहने भी दो! मैं तुम्हें बता दूँ : शैतान के कार्य चाहे कितने ही अच्छे क्यों न हों, वे सब मेरे निर्माण को ध्वस्त करने और मेरे प्रबंधन को बाधित करने के लिए हैं। चाहे इसके कार्य कितने अच्छे क्यों न हों, इसका सार नहीं बदलता—यह मेरा अनादर करता है। इसलिए, बहुत से लोग अनजाने में मेरे हाथ से मार गिराए जाते हैं और अनजाने में मेरे परिवार से बाहर निकाल दिए जाते हैं। आज, कोई भी मामला (चाहे बड़ा हो या छोटा) मनुष्य द्वारा आयोजित नहीं किया जाता है; सब कुछ मेरे हाथों में है। यदि कोई कहता है कि सभी चीज़ें मनुष्य के नियंत्रण में हैं, तो मैं कहता हूँ कि तू मेरा अनादर करता है और मैं निश्चित रूप से तुझे गंभीर रूप से ताड़ना दूँगा और तेरे आराम के लिए कोई जगह नहीं छोड़ूँगा। सभी घटनाओं और चीज़ों में से क्या मेरे हाथों के भीतर नहीं है? क्या मेरे द्वारा स्थापित या मेरे द्वारा निर्धारित नहीं है? और तू अभी भी मुझे जानने के बारे में बात करता है! ये शैतानी शब्द हैं। तूने दूसरों को धोखा दिया है इसलिए तू सोचता है कि तू मुझे भी धोखा दे सकता है? तू सोचता है कि यदि तूने जो किया है, उसके बारे में कोई नहीं जानता तो उससे कुछ नहीं होगा? ऐसा मत सोच कि तू हल्के में बच जाएगा! मुझे अवश्य तुझसे अपने सामने घुटने टिकवाने हैं और इसके बारे में कहलवाना है। न बोलना अस्वीकार्य है; यह मेरा प्रशासनिक आदेश है!

क्या तुम लोग वास्तव में समझते हो कि मेरा आत्मा कौन है, और मेरा देहधारी स्व कौन है? मेरे देहधारण का अर्थ क्या है? तुम लोगों में से किसने इस महत्वपूर्ण मामले पर सावधानी से विचार किया है और मुझसे कुछ प्रकाशन प्राप्त किया है? तुम सब लोग स्वयं को बेवकूफ़ बना रहे हो! मैं क्यों कहता हूँ कि तू बड़े लाल अजगर की संतान है? आज मैं तुम लोगों के लिए अपने देहधारण के रहस्य को प्रकट करता हूँ, ऐसा रहस्य जिसे मनुष्य दुनिया के सृजन के बाद से ही उजागर करने में असमर्थ रहा है, जिसने मेरी नफ़रत की बहुत सी वस्तुओं का ध्वंस कर दिया है। और इसलिए यह आज है। मेरी देह की वजह से, जिन्हें मैं प्यार करता हूँ, उनमें से बहुतों को पूर्ण बना दिया गया है। मुझे वास्तव में देह क्यों बनना होगा? और मैं ऐसा क्यों दिखता हूँ जैसा हूँ (जिनमें मेरी ऊँचाई, मेरा प्रकटन और आध्यात्मिक कद आदि सभी चीज़ें शामिल हैं)? इसके बारे में कौन कह सकता है? मेरे देहधारण का इतना अधिक महत्व है कि बस सब कुछ नहीं बताया जा सकता है। मैं तुम लोगों को इसका बस एक अंश बताऊँगा (क्योंकि मेरे काम के चरणों ने इसे यहाँ तक पहुँचाया है, इसलिए मुझे यह करना और यह कहना चाहिए): मेरा देहधारण प्राथमिक रूप से मेरे पहलौठे पुत्रों पर निर्देशित है, ताकि मैं अवश्य उनकी चरवाही करूँ और ताकि वे मेरे साथ आमने-सामने बातचीत कर सकें और बोल सकें; यह ये भी दिखाता है कि मैं और मेरे पहलौठे पुत्र एक दूसरे के साथ अंतरंग हैं (जिसका अर्थ है कि हम एक साथ खाते हैं, एक साथ रहते हैं, एक साथ जीते हैं और एक साथ कार्य करते हैं), ताकि उन्हें वास्तविकता में मेरे द्वारा खिलाया जा सके—ये खोखले वचन नहीं हैं बल्कि यह वास्तविकता है। पहले, लोग मुझ पर विश्वास करते थे लेकिन वास्तविकता को समझ नहीं सके थे और ऐसा इसलिए था क्योंकि मैंने अभी तक देहधारण नहीं किया था। आज, मेरा देहधारण तुम सभी लोगों को वास्तविकता को समझने देता है और मेरे भाषणों और आचरण और जिस तरह से मैं—स्वयं बुद्धिमान परमेश्वर—मामलों को सँभालता हूँ, उनके पीछे के सिद्धांतों के माध्यम से उन लोगों को मुझे जानने देता है, जो मुझे ईमानदारी से प्रेम करते हैं। जो ईमानदारी से मेरी तलाश नहीं करते हैं, यह उन लोगों को भी मेरे अगोचर कार्यों में मेरी मानवता के पहलू को देखने देता है और इस तरह मेरा अनादर करने देता है और फिर मेरे द्वारा मार गिराए जाने से “बिना किसी भी कारण” मरने देता है। शैतान को अपमानित करने में, देहधारण मेरे लिए सबसे जबरदस्त गवाही देता है; मैं न केवल देह से सामने आने में सक्षम हूँ बल्कि मैं देह के भीतर भी रह सकता हूँ। मैं किसी भी स्थानिक या भौगोलिक प्रतिबंध से प्रभावित नहीं हूँ; मेरे लिए किसी भी तरह की कोई बाधाएँ नहीं हैं और सब कुछ अबाध गति से चलता है। इससे शैतान सर्वाधिक शर्मिंदा होता है और जब मैं देह से सामने आता हूँ, तब भी मैं अपनी देह में कार्य करता हूँ और बिल्कुल भी प्रभावित नहीं होता हूँ। मैं अभी भी पर्वतों, नदियों, झीलों और ब्रह्मांड के हर कोने में और साथ ही उसमें विभिन्न चीजों पर लंबे डग भरता हूँ। उन सभी को प्रकट करने के लिए मेरा देहधारण हुआ है, जो मुझसे जन्मे तो थे लेकिन मेरा अनादर करने के लिए खड़े हो गए हैं। यदि मैं देह नहीं बनता, तो उन्हें प्रकट करने का कोई तरीका नहीं होता (उनका जिक्र जो मेरे सामने एक तरह से क्रिया करते हैं और मेरी पीठ पीछे दूसरी तरह से)। यदि मैं एक पवित्रात्मा के रूप में बना रहता, तो लोग अपनी धारणाओं में मेरी आराधना करते और सोचते कि मैं एक निराकार और अगम्य परमेश्वर हूँ। मेरा देहधारण आज लोगों की धारणाओं (कहें तो मेरी ऊँचाई और मेरे प्रकटन के संबंध में) के पूरी तरह विपरीत है, क्योंकि वह बहुत साधारण दिखता है और बहुत लंबा नहीं है। यही स्थिति शैतान को सर्वाधिक अपमानित करती है और लोगों की धारणाओं (शैतान की ईशनिंदा) का सबसे शक्तिशाली प्रत्युत्तर है। यदि मेरा प्रकटन हर किसी से भिन्न होता, तो यह परेशानी उत्पन्न करता—सभी मेरी आराधना करने आते और अपनी धारणाओं के माध्यम से मुझे समझते और वे मेरे लिए उस सुंदर गवाही को देने में समर्थ नहीं होते। इस प्रकार, मैंने स्वयं उस छवि को अपनाया जो आज मेरी है, जिसे समझना बिल्कुल भी मुश्किल नहीं है। सभी को इंसानी धारणाओं से बाहर निकलना चाहिए और शैतान के कुटिल षड़यंत्रों से धोखा नहीं खाना चाहिए। अपने कार्य की आवश्यकताओं के अनुसार भविष्य में मैं तुम लोगों को बारी-बारी से और अधिक बताऊँगा।

आज, मेरे महान कार्य को सफलता मिली है और मेरी योजना पूरी हो गई है। मैंने उन लोगों का एक समूह प्राप्त कर लिया है जो एक चित्त होकर मेरे साथ सहयोग करते हैं। यह मेरे लिए सबसे गौरवशाली समय है। मेरे प्यारे पुत्र (वे सभी जो मुझसे प्रेम करते हैं) सभी चीज़ों को पूरा करने में मेरे साथ-साथ एक दिल और दिमाग वाले होने में सक्षम हैं। यह एक अदभुत बात है। आज के बाद, जिन्हें मैं प्रतिकूल मानता हूँ, उनके पास पवित्र आत्मा का कार्य नहीं होगा, अर्थात् मैं उन लोगों को निकाल दूँगा जो अतीत में मेरे कहे के अनुरूप नहीं हैं। जो कुछ भी मैं कहता हूँ लोगों को पूरी तरह से उसके अनुरूप होना चाहिए। इसे याद रखो! तुम्हें पूरी तरह से अनुरूप होना है। ग़लत ढंग से मत समझो; सब मेरे ऊपर है। लोगो, मेरे साथ शर्तों की बात मत करो। यदि मैं कहता हूँ कि तुम योग्य हो तो यह पत्थर की लकीर है; यदि मैं कहता हूँ कि तुम योग्य नहीं हो, तो दुःखी मत हो और स्वर्ग और धरती को दोष मत दो। ये सभी मेरी व्यवस्थाएँ हैं। किसने तुमसे कहा कि तुम्हें स्वयं अपना अपमान करना चाहिए? किसने तुमसे कहा कि तुम्हें ऐसी शर्मनाक मूर्खता करनी चाहिए? भले ही तुम कुछ न कहो, तुम मुझसे सत्य को छिपा नहीं सकते। जब मैं कहता हूँ कि मैं स्वयं परमेश्वर हूँ जो मनुष्य के अंतर्तम हृदय की जाँच करता है, तो मेरे शब्द किसे लक्षित कर रहे हैं? यह मैं उन लोगों से कहता हूँ, जो बेईमान हैं। मेरी पीठ पीछे इस प्रकार की चीज़ को करना, कितनी बेशर्मी की बात है! क्या तुम लोग असत्य बोलकर मुझे धोखा देना चाहते हो? यह इतना आसान नहीं है! यहाँ से तुरंत निकल जाओ! विद्रोह के पुत्र! तुम खुद से प्यार नहीं करते और तुम खुद का सम्मान नहीं करते! तुम अपने बारे में परवाह नहीं करते हो, फिर भी चाहते हो कि मैं तुम लोगों से प्यार करूँ? भूल जाओ! मुझे इस तरह का एक भी अभागा नहीं चाहिए। तुम सब मुझसे दूर हो जाओ! यह मेरे नाम को सबसे गंभीर रूप से शर्मिंदा करता है; यदि तुम इसे स्पष्ट रूप से नहीं देखते तो ऐसे नहीं चलेगा। इस दुष्ट और कामुकतापूर्ण पुराने युग में किसी भी गंदगी से दूषित होने से तुम लोगों को खुद को बचाना चाहिए; तुम लोगों को पूरी तरह पवित्र और बेदाग होना चाहिए। आज, जो मेरे साथ राजाओं के रूप में शासन करने के लिए योग्य हैं, ये वे लोग हैं जो किसी भी गंदगी से दूषित नहीं हैं क्योंकि मैं स्वयं पवित्र परमेश्वर हूँ और मैं ऐसे किसी को भी नहीं चाहता हूँ जो मेरे नाम को शर्मिंदा करता हो। ऐसे लोग मेरी परीक्षा लेने के लिए शैतान द्वारा भेजे जाते हैं और सचमुच वे शैतान के अनुचर हैं जिन्हें मारकर भगा दिया जाना चाहिए (अथाह कुंड में डालते हुए)।

मेरा परिवार पवित्र और बेदाग है और मेरा मंदिर आलीशान और प्रतापी है (जिसका अर्थ है कि वे लोग जिनके पास मेरा स्वरूप है)। कौन प्रवेश करने और उपद्रव मचाने का साहस करता है? मैं निश्चित रूप से उन्हें माफ नहीं करूँगा। वे पूरी तरह से नष्ट हो जाएँगे और बहुत शर्मिंदा किए जाएँगे। मैं बुद्धिमानी से काम करता हूँ। चाकू के बिना, बंदूक के बिना और एक भी अँगुली उठाए बिना मैं उन लोगों को पूरी तरह से पराजित कर दूँगा जो मेरा अनादर करते हैं और मेरे नाम को शर्मिंदा करते हैं। मैं उदारचरित हूँ और तब भी एक स्थिर गति से अपना काम करता रहता हूँ, जब शैतान इस हद तक परेशानी पैदा करता है; मैं इस पर कोई ध्यान नहीं देता हूँ और मैं अपनी प्रबंधन योजना की पूर्णता के साथ इसे पराजित कर दूँगा। यह मेरी सामर्थ्य और मेरी बुद्धि है और इससे भी अधिक यह मेरी अनंत महिमा का एक छोटा सा हिस्सा है। मेरी नज़रों में, जो मेरा अनादर करते हैं वे गंदगी में रेंगने वाले कीड़ों की तरह हैं और जब चाहूँ मैं उन्हें किसी भी समय पैरों तले कुचलकर मार सकता हूँ। हालाँकि, मैं बुद्धि के साथ चीज़ों को करता हूँ। मैं चाहता हूँ कि मेरे पहलौठे पुत्र जाकर उनसे निपटें; मैं किसी जल्दी में नहीं हूँ। मैं विधिवत रूप से, व्यवस्थित रीति में और बिना किसी त्रुटि के कार्य करता हूँ। उन पहलौठे पुत्रों के पास, जो मुझसे जन्मे हैं, वह होना चाहिए जो मैं हूँ और उन्हें मेरे कर्मों में मेरी अनंत बुद्धि देखने में समर्थ होना चाहिए!

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