986 देहासक्ति तुम्हारे गंतव्य को बर्बाद कर सकती है
1 यदि लोग वास्तव में मानव जीवन के सही मार्ग को और साथ ही परमेश्वर के मानव जाति के प्रबंधन के उद्देश्य को पूरी तरह से समझ सकते हैं, तो वे अपने व्यक्तिगत भविष्य और भाग्य को अपने दिल में एक खजाने के रूप में थामे नहीं रहेंगे। वे अब और अपने माता-पिता की सेवा करना नहीं चाहेंगे, जो सूअरों और कुत्तों से भी बदतर हैं। उन सभी को इसकी पूरी तरह से समझ होनी चाहिए कि वे किस में प्रवेश करें, और उन्हें विशेष रूप से तय करना चाहिए कि विपत्ति के दौरान किस में प्रवेश करें, और उन्हें आग के परीक्षण में किस-किस से लैस होना चाहिए। हमेशा अपने देह की, जो सूअरों और कुत्तों की तरह हैं और चींटियों और कीड़ों से भी बदतर हैं, सेवा न करो। इस पर दुखी होने का, इतनी चिंता करने और अपने दिमागों को परेशान करने का, क्या मतलब है?
2 यह देह तेरा अपना नहीं है, बल्कि वह परमेश्वर के हाथों में है जो न केवल तुझे नियंत्रित करता है बल्कि शैतान को भी आज्ञा देता है तू देह के उत्पीड़न तले जी रहा है, लेकिन क्या देह तेरा है? क्या यह तेरे नियंत्रण में है? इस पर परेशान होकर क्यों अपने दिमाग ख़राब करें? क्यों पागलों की तरह परेशान हों परमेश्वर से आग्रह करने में, अपने उस बदबूदार देह के लिए आसक्त होकर, जो लंबे समय से निन्दित और शापित है, साथ ही अशुद्ध आत्माओं द्वारा मलिन किया गया है? क्यों परेशान हों हमेशा अपने दिल के करीब शैतान के सहयोगियों को थाम कर? क्या तुझे चिंता नहीं है कि देह तेरे वास्तविक भविष्य को, अद्भुत आशाओं को और तेरे जीवन के सही गंतव्य को बर्बाद कर सकता है?
— "वचन देह में प्रकट होता है" में "मानव जाति के प्रबंधन का उद्देश्य" से रूपांतरित