1025 अंत के दिनों में मनुष्य से परमेश्वर का वादा
Ⅰ
जब विजय-कार्य पूरा हो जाएगा,
तब इंसान एक ख़ूबसूरत दुनिया में जाएगा।
तब भी धरती पर जीवन होगा,
मगर आज जैसा न होगा।
इंसान पर विजय के बाद ये नया जीवन है,
नए राज्य में जाने का प्रमाण है,
धरती पर ईश्वर के साथ इंसान के जीवन की शुरुआत है।
धरती पर इंसान का आगे का जीवन सुंदर है,
जिसकी कामना की इंसान ने,
जो देखा न गया पहले कभी इतिहास में।
छह हज़ार सालों के काम का
यही अंतिम परिणाम है।
इसी के लिए इंसान सबसे ज़्यादा तरसता है,
यही ईश्वर का इंसान से वादा है, वादा है।
Ⅱ
ऐसे सुंदर जीवन का आधार है
कि इंसान पहले शुद्ध हो,
उसे जीता जाए, और फिर वो
ईश्वर को समर्पित हो।
इस तरह, विजय-कार्य
ईश्वर के कार्य का अंतिम चरण है
इंसान के ऐसी सुंदर जगह पर जाने से पहले।
धरती पर इंसान का आगे का जीवन सुंदर है,
जिसकी कामना की इंसान ने,
जो देखा न गया पहले कभी इतिहास में।
छह हज़ार सालों के काम का
यही अंतिम परिणाम है।
इसी के लिए इंसान सबसे ज़्यादा तरसता है,
यही ईश्वर का इंसान से वादा है, वादा है।
Ⅲ
ये वादा अभी पूरा न होगा:
आगे की मंज़िल पर इंसान तभी पहुँचेगा;
जब पूरा हो जाएगा
अंत के दिनों का काम;
जब जीत लिया जाएगा
पूरी तरह इंसान को,
जब हरा दिया जाएगा शैतान को।
धरती पर इंसान का आगे का जीवन सुंदर है,
जिसकी कामना की इंसान ने,
जो देखा न गया पहले कभी इतिहास में।
छह हज़ार सालों के काम का
यही अंतिम परिणाम है।
इसी के लिए इंसान सबसे ज़्यादा तरसता है,
यही ईश्वर का इंसान से वादा है।
"वचन देह में प्रकट होता है" से रूपांतरित